Friday 23 March 2012

      बंगाल टाइगर्स के हाथों से फिसला एशिया कप

कल का दिन बंगलादेश और पाकिस्तान के रहनुमाओं के लिए बहुत ही ख़ास था, क्योंकि कल उन दोनों देशो की टीम के बीच एशिया कप को लेकर खिताबी भिंडत जो होने वाली थी/ और दोनों ही देश के दर्शको में बड़ा ही जोश और उत्साह देखते बन रहा था/ एक तरफ थी पाकिस्तान जैसी मजबूत टीम जो एक बार पहले ही एशिया कप जीत चुकी थी, वहीँ दूसरी तरफ  थी बंगलादेश जिसे इस एशिया कप के दौरान कहीं भी कमजोर मानना उचित नहीं, क्योंकि वो पहले ही इंडिया जैसी धाकड़ टीम को हरा चुकी थी उसके बाद उसने श्री लंका को भी चित किया, जिसके दम पर वो फाइनल में पहुची, उस फाइनल  मैच से पहले हर बंगलादेशी के चेहरे पर जीत की उम्मीद थी, लेकिन उस वक़्त किसी को नहीं पता था की किस्मत किसका साथ देगी/

वरहाल उस मैच में शुरुआत दोनों टीम्स की बेहतर रही, इसमें कोई दो राय नहीं की दोनों ही के बेट्समेन  और बौलर्स  ने उम्दा प्रदर्शन किया, मगर बारी आई मैच के अंतिम छड़ों की जब बंगलादेश ने २३६ रन के स्कोर बड़े शानदार  तरीके से पीछा किया, लेकिन टर्निंग पॉइंट शाकिब अल हसन और मशरफ मुर्तजा के आउट होने के बाद आया क्योंकि इन दोनों के आउट होने से रन रेट बढता चला गया और आखिरी ओवर में बंगलादेश को जीत के लिए सिर्फ ९ रन चाहिए थे लेकिन बंगलादेशी खिलाडी मात्र ६ रन ले पाए और मैच बंगलादेश के हाथों से छूट चूका था, और ये क्या बांग्लादेशी कप्तान की आँखों से आंसू की धारा बहने लगी, भाई ये तो बहुत ही बुरा हुआ की बंगलादेश को पहली बार फाइनल का टिकेट मिला और वो उस मौके को भुना नहीं पाए/

वाकई ये कप तो बंगलादेश को ही जीतना था क्योंकि वो उसकी हक़दार था क्योंकि जिस तरह का प्रदर्शन उसके खिलाडियों ने पूरे टूर्नामेंट में किया वो वाकई काबिले तारीफ़ था, और वहीँ इस कप को इंडिया ५ बार, श्री लंका ४ बार और पाकिस्तान २ बार जीत ही चुकें हैं, तो एक जीत तो बाग्लादेश को भी मिलनी चाहिए/ खैर अवसर अभी आगे भी आते रहेंगे बस टीम को अपने प्रदर्शन में और निखार लाना होगा क्योंकि एशिया का कोई भी देश हो क्रिकेट का जूनून सभी पर हावी है और इसी कारण एशिया में प्रतिभा की कमी नहीं और खासकर बंगलादेश जो कुछ मौकों पर दर्शको को चौकाती रही रही है/  फिलहाल तो बस यही कहा जा सकता है की मानना पड़ेगा बंगलादेश में दम है/

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